छत्तीसगढ़ में बीजेपी की दूसरी लिस्ट को मिलाकर अब तक 90 में से 85 सीटों पर उम्मीदवार तय हो चुके हैं. जिन 5 सीटों पर बीजेपी ने अभी पत्ते नहीं खोले हैं, उनमें से एक अंबिकापुर भी है जो प्रदेश के डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव की परंपरागत सीट रही है.बीजेपी के इस कदम ने चर्चाओं का बाजार एक बार फिर गर्म कर दिया है.
छत्तीसगढ़ में बीजेपी की दूसरी लिस्ट को मिलाकर अब तक 90 में से 85 सीटों पर उम्मीदवार तय हो चुके हैं. जिन 5 सीटों पर बीजेपी ने अभी पत्ते नहीं खोले हैं, उनमें से एक अंबिकापुर (Ambikapur)भी है जो प्रदेश के डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव (Deputy CM TS Singhdev) की परंपरागत सीट रही है.बीजेपी के इस कदम ने चर्चाओं का बाजार एक बार फिर गर्म कर दिया है.दरअसल सिंहदेव द्वारा सार्वजनिक मंच पर केंद्र की तारीफ करने और पीएम नरेन्द्र मोदी (PM Narendra Modi) का बिलासपुर की सभा में इसे लेकर जिक्र करना काफी कुछ कहता है.इसके अलावा जीएसटी पर सिंहदेव के बयान भी सबको याद हैं.ऐसे में बीजेपी के इस निर्णय ने सियासी पंडितों को नए सिरे से सोचने पर मजबूर कर दिया है.
सिंहदेव ने कहा था- पीएम भेदभाव नहीं करते
जहां तक डिप्टी सीएम और सरगुजा स्टेट (Surguja State)के वारिस टीएस सिंहदेव की बात करें तो ढाई-ढाई साल के सीएम वाले फार्मूले के फेल होने पर उनकी तल्खी साफ झलक रही थी.हालांकि दिल्ली में कांग्रेस आलाकमान की सुलह के बाद उन्हें उपमुख्यमंत्री का तमगा जरूर मिला और वे करीब-करीब शांत पड़ गए.माना जाने लगा कि सब कुछ पटरी पर आ चुका है और सिंहदेव नियति से समझौता कर चुके हैं.
इसी बीच रायगढ़ में पीएम मोदी की सभा हुई. इस सरकारी कार्यक्रम में राज्य सरकार के प्रतिनिधि के तौर पर मंच पर मौजूदगी का मौका सिंहदेव को मिल गया. यहीं उन्होंने खुले मंच से कह दिया कि प्रधानमंत्री छत्तीसगढ़ के साथ कभी भेदभाव नहीं करते.
फिर क्या था,कांग्रेस में एक बार फिर तूफान मच गया.कई कांग्रेसी नेताओं ने उनके इस सार्वजनिक बयान पर तीखी प्रतिक्रिया दी.इसे भुनाने में पीएम मोदी ने भी कोई कसर नहीं छोड़ी.जब वे बिलासपुर की सभा में भाषण देने आए तो सिंहदेव और पूरे प्रकरण का जिक्र करने से नहीं चूके.मंच से पीएम मोदी ने कहा कि उनके डिप्टी सीएम ने केंद्र की एक तारीफ क्या कर दी, उन्हें फांसी पर लटकाने की तैयारी शुरू हो गई थी.
सिंहदेव ने फिर दे दी हवा
पीएम मोदी के बिलासपुर में दिए भाषण पर कांग्रेसियों का जवाब आता उससे पहले सिंहदेव ने ठीक उसी दिन नई आग को हवा देने का काम किया. एक सार्वजनिक मंच पर फिर उन्होंने जीएसटी के मसले पर फिर से केंद्र सरकार के पक्ष में बात कह दी.
सीट का गणित बना पहेली
अब चौंकाने की बारी बीजेपी की थी,जो उन्होंने भलीभांति की है.उसने 5 सीटों पर प्रत्याशी घोषित नहीं किया. बेलतरा समेत कुछ सीटों का समीकरण तो समझ में आता है कि ये उनका अंदरूनी मामला है लेकिन सवाल ये है कि अंबिकापुर सीट को क्यों छोड़ा गया. वैसे भी बीजेपी के लिए महत्वपूर्ण सीट नहीं थी, क्योंकि यथास्थिति वाले पोजिशन में उन्हें इस सीट से उम्मीद भी नहीं के बराबर थी. लेकिन कयासों के बाजार गर्म रहने के दौरान ये निर्णय चौंकाने वाला साबित हो रहा है. लोग ये उम्मीद कर रहे हैं कि जो कुछ होना है जल्द हो जाएगा.